सात लोक तले जिमी के, मृतलोक है तिन पर।
इंद्र रुद्र ब्रह्मा बीचमें, ऊपर विस्नु वैकुंठ घर।।२१
निराकार वैकुंठ पर, तिन पर अक्षर ब्रह्म।
अक्षरातीत ब्रह्म तिन पर, यों कहे ईसे काइलम।।२२
इस पृथ्वीके अधोभागमें सात पाताल हैं. उनके ऊपर मृत्युलोक है. इसके ऊपरके लोकोंमें इन्द्र, रुद्र, ब्रह्मा आदि रहते हैं. इन चौदह लोकोंमें सबसे ऊपर भगवान विष्णुका वैकुण्ठ धाम है. वैकुण्ठसे परे निराकार है. उससे परे अक्षरब्रह्म हैं. उनसे भी परे अक्षरातीत परब्रह्म हैं. इस प्रकार सद्गुरु देवचन्द्रजी प्रदत्त तारतम ज्ञाान स्पष्ट कहता है.
इंद्र रुद्र ब्रह्मा बीचमें, ऊपर विस्नु वैकुंठ घर।।२१
निराकार वैकुंठ पर, तिन पर अक्षर ब्रह्म।
अक्षरातीत ब्रह्म तिन पर, यों कहे ईसे काइलम।।२२
इस पृथ्वीके अधोभागमें सात पाताल हैं. उनके ऊपर मृत्युलोक है. इसके ऊपरके लोकोंमें इन्द्र, रुद्र, ब्रह्मा आदि रहते हैं. इन चौदह लोकोंमें सबसे ऊपर भगवान विष्णुका वैकुण्ठ धाम है. वैकुण्ठसे परे निराकार है. उससे परे अक्षरब्रह्म हैं. उनसे भी परे अक्षरातीत परब्रह्म हैं. इस प्रकार सद्गुरु देवचन्द्रजी प्रदत्त तारतम ज्ञाान स्पष्ट कहता है.
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